Opinion

आरएसएस के सरकार्यवाह ने बताया क्यों हुई संगठन की स्थापना, संघ का विजन भी साझा किया

राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के शताब्दी वर्ष के उपलक्ष्य में उत्तराखंड के रुद्रपुर स्थित जेसीज़ पब्लिक स्कूल सभागार में आयोजित प्रमुख जन गोष्ठी में सरकार्यवाह दत्तात्रेय होसबाले जी ने कहा कि हिन्दुत्व भारत की पहचान है और यह केवल धार्मिक पहचान नहीं है, भौतिक पहचान भी है। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ ने हिन्दुत्व ही भारत की पहचान के मंत्र को आधार मानकर संघ को आगे बढ़ाया है और यही संघ की 100 वर्षों की यात्रा का स्रोत है।

प्रमुख जन गोष्ठी में सरकार्यवाह जी ने कहा कि संघ संस्थापक डॉक्टर केशव बलिराम हेडगेवार जी ने स्वतंत्रता आंदोलन में भाग लिया और बहुत से क्रांतिकारियों का सहयोग भी किया। किंतु उनके मन में यह विचार हमेशा चलता रहा कि भारत एक प्राचीन राष्ट्र है और भौतिक एवं आध्यात्मिक क्षेत्र में उन्नत रहा है। यहाँ किसी चीज का अभाव न था, फिर भी वह कौन सा कारण था कि हम बार-बार पराजित होते थे और हमारे समाज में मानसिक एवं बौद्धिक गुलामी का स्वभाव उत्पन्न हो गया। उन्होंने कहा कि एक कालखंड ऐसा रहा जब हमारे समाज के लोग केवल व्यक्तिगत हित के बारे में विचार करते थे, समाज के नहीं। यही विचार कर डॉक्टर केशव बलिराम हेडगेवार जी ने 1925 में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ की स्थापना की और संकल्प लिया कि हिन्दू समाज की शक्ति को संघ की शाखा के माध्यम से संगठित कर इस मानसिकता को बदलेंगे। उन्होंने शाखा के रूप में एक ऐसा तंत्र दिया, जिससे संघ ने व्यक्ति निर्माण का कार्य प्रारंभ किया।

दत्तात्रेय होसबाले जी ने कहा कि संघ केवल व्यक्ति निर्माण का कार्य करेगा और स्वयंसेवक समाज के हर क्षेत्र में कार्य करेंगे। संघ के स्वयंसेवकों ने समाज में विभिन्न क्षेत्रों में संगठन खड़ा किए हैं। इसके अलावा आज देश में एक लाख से अधिक सेवा प्रकल्प चल रहे हैं। संघ जो भी कर रहा है, समाज के सहयोग से ही कर रहा है और समाज में जिस व्यक्ति का राष्ट्र भाव जागृत होता है वो संघ के सेवा कार्य से आकर जुड़ जाता है।

उन्होंने समाज में पञ्च परिवर्तन – समरसता, नागरिक कर्तव्य, स्व का बोध, कुटुंब प्रबोधन और पर्यावरण संरक्षण के सूत्र को समाज में ले जाने का आग्रह किया और विस्तार से इसकी जानकारी दी। उन्होंने कहा कि हमने कोई सेलिब्रेशन या जुबली कार्यक्रम नहीं करने थे। संघ हमेशा समाज को जागृत करने का काम करता आया है, उसी दिशा में कार्य कर रहा है और समाज में राष्ट्र प्रथम की भावना जागृत कर रहा है।

उन्होंने पर्यावरण संरक्षण, स्वच्छता को अपने स्वभाव में लाने पर जोर दिया। साथ ही परिवार के महत्व पर कहा कि हमारा भारत तभी सुरक्षित रहा क्योंकि हमारे परिवार सुरक्षित रहे, आर्थिक रूप से भी मजबूत रहा।

उन्होंने कहा कि भारत के समाज को श्रेष्ठ समाज बनाने के लिए संघ का प्रयास जारी है। समाज के लिए अच्छा काम करने के लिए लोगों को आगे आना चाहिए। ऐसे लोगों को संघ के लिए काम करने वाला बताते हुए कहा कि संघ के कार्यकर्ता हर अच्छे कार्य में मदद करते हैं।

कार्यक्रम में मंच पर प्रांत संघचालक डॉ. बहादुर सिंह बिष्ट उपस्थित रहे।

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